Music Therapy Benefits: कीर्तन की धुन हो या मंदिर में घंटी बजाने से मिलने वाला सुकून, शंख की आवाज हो या किसी आयोजन में बजने वाला मधुर संगीत। ऐसा लगता है किसी ने तपते मन पर बर्फ सरीखा कोई चीज रखकर गया हो। इन दिनों इसी बात को चिकित्सा जगत (Music Therapy Benefits) में खूब आजमाया जाने लगा है। वैसे तो यह चलन पुराना है।
आने वाले 21 जून को विश्व संगीत दिवस (World Music Day 2024) मनाया जाएगा। बता दें कि पहली बार इसे फ्रांस में वर्ष 1982 को मनाया गया था। तब से दुनिया में शांति के लिए इसे मनाया जाता है। आइए अब जानें संगीत का उपचारात्मक प्रभाव।
वैज्ञानिक है यह विधि
हमारे देश में वेद ग्रंथ भी लिखे गए हैं इस पर। जैसे गंधर्ववेद में इसकी विस्तार से चर्चा है। राग और सुरीले धुनों को लेकर खूब बातें की जाती हैं कि यह मन को सुकून देता ही है यह सेहत को भी पहुंचा सकता है आराम। अब तो इसे म्यूजिक थेरेपी के तौर पर चलन में देखा जाता है। सबसे अच्छी बात यह है कि इसमें दवाइयों की जरूरत नहीं होती। बता दें कि द्वितीय विश्व युद्ध के बाद आधुनिक संगीत चिकित्सा (Music Therapy Benefits) शुरू हुई।
प्राचीन है यह विधि
आप सोच रहे होंगे कि संगीत को कैसे थेरेपी की तरह प्रयोग किया जाता है और इससे हमारे शरीर में क्या प्रभाव होता है और इसे कैसे पैदा किया जाता है। बता दें कि यह पूरी तरह वैज्ञानिक तरीका (World Music Day 2024) है। बस इसके लिए थेरेपिस्ट को कुछ सेशन लेना होता है। विशेष उपकरण होते हैं जिनसे धुने पैदा की जाती हैं। विशेष ध्वनि के माध्यम से ध्वनि तरंगें पैदा की जाती है जिससे मस्तिष्क की कोशिकाओं में विशेष प्रभाव पैदा होता है। यह खुशी उत्पन्न करने वाले हार्मोन डोपामाइन, एंडोर्फिन आदि का स्त्राव करते हैं।
होते हैं कई चरण
जब ध्वनियां शरीर में प्रभावित होने लगती हैं तो सुकून मिलता है। नकारात्मक ऊर्जा से मुक्ति मिलनी शुरू होती है। पर सबसे पहले मरीज को इसका महत्व समझाया जाता है। यही पहला चरण है। जब व्यक्ति समझ जाए कि यह कितना असरकारक है वह सत्र में आना शुरू करता है। दो या तीन या आवश्यकतानुसार उसकी चिकित्सा होती है और वह ठीक होने लगता है।
दुनिया से दूर सुकून अपने पास
निरंतर मोबाइल पर नजरें टिकाए रखना कामकाज की आपाधापी, परिवार की जिम्मेदारियां न जाने के कितने ही जंजाल। आपसे कोई कहे कि यह सब छोड़कर एक जगह आराम से बैठ जाएं,यह आज के समय में आसान नहीं होता। पर संगीत चिकित्सा के लिए आपको ऐसा ही करना होगा। आप पाएंगे कि सत्र के दौरान आप समझ रहे हैं कि दरअसल, सुकून भीतर है। यह बाहरी दुनिया में खोजने की कोशिश सही नहीं।
सौ प्रतिशत असरकारक
थायरायड, नींद की समस्याओं को दूर करने में संगीत चिकित्सा को सौ प्रतिशत कारगर माना गया है। यदि आपको मधुमेह है और यह शुरुआती अवस्था में है तो आप संगीत के माध्यम से थेरेपी पाकर इसे भी ठीक कर सकते हैं। आजकल मूड बदलना, गुस्सा, चिड़चिड़ापन बढ़ता जा रहा है। अवसाद, चिंता-अशांति भी हावी है। ऐसे में संगीत थेरेपी बहुत कारगर है।
ब्लडप्रेशर को करेगा कंट्रोल
संगीत की मदद से आपके रक्तचाप की समस्या भी दूर हो सकती है। साथ ही आपके कोलेस्ट्रोल स्तर को कम करने में मदद करता है। बता दें कि इससे धमनी रोग व स्ट्रोक का जोखिम कम होगा और आपको कई बीमारियों से मिल जाएगा आराम।
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