
Jharkhand Political Crisis: झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) के विधायक दल के नेता चंपई सोरेन ने शुक्रवार (2 फरवरी) को झारखंड के मुख्यमंत्री पद की शपथ ली। 67 वर्षीय आदिवासी नेता चंपई सोरेन राज्य के 12वें मुख्यमंत्री हैं। राज्यपाल सीपी राधाकृष्णन ने उन्हें यहां राजभवन में पद की शपथ ग्रहण कराई। चंपई सोरेन के अलावा कांग्रेस (Congress) के वरिष्ठ नेता आलमगीर आलम और राष्ट्रीय जनता दल (RJD) नेता सत्यानंद भोक्ता ने राज्य के मंत्रियों के रूप में शपथ ली।
शपथ ग्रहण समारोह रांची स्थित राजभवन के दरबार हॉल में आयोजित किया गया। इस अवसर पर JMM के नेतृत्व वाले गठबंधन के वरिष्ठ नेता उपस्थित थे। झारखंड विधानसभा का सत्र 5 फरवरी और 6 फरवरी को होगा। नई सरकार को अब 5 फरवरी को अपना बहुमत साबित करना होगा। चंपई सोरेन को राज्यपाल ने गुरुवार को मुख्यमंत्री नियुक्त किया था।
इससे पहले चंपई सोरेन ने राज्यपाल से सरकार बनाने के उनके दावे को जल्द से जल्द स्वीकार करने का आग्रह किया था, क्योंकि राज्य में भ्रम की स्थिति बनी हुई थी और प्रदेश में कोई मुख्यमंत्री नहीं था। यह स्थिति बुधवार को हेमंत सोरेन के इस्तीफे के बाद से राज्य में मुख्यमंत्री न होने की वजह से थी। इसके कारण राजनीतिक संकट गहरा गया था।
मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा देने के शीघ्र बाद 48 वर्षीय हेमंत सोरेन को प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने 31 जनवरी की रात गिरफ्तार कर लिया था। एजेंसी ने दिन में उनसे 7 घंटे से अधिक समय तक पूछताछ की थी। चंपई सोरेन ने शपथ लेने के तुरंत बाद आदिवासी नायकों बिरसा मुंडा और सिद्धो कान्हू को श्रद्धांजलि दी, जिन्होंने ब्रिटिश औपनिवेशिक ताकतों के खिलाफ लड़ते हुए अपनी जान दे दी थी।
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झारखंड के नए मुख्यमंत्री चंपई सोरेन के नेतृत्व वाली गठबंधन सरकार 5 फरवरी को विश्वास मत हासिल करेगी। आलम ने पीटीआई को बताया, “राज्य में JMM के नेतृत्व वाले गठबंधन द्वारा बहुमत साबित करने के लिए शक्ति परीक्षण 5 फरवरी को दो दिवसीय विधानसभा सत्र के पहले दिन होगा।” मुख्यमंत्री चंपई सोरेन की अध्यक्षता में मंत्रिमंडल की पहली बैठक में यह फैसला लिया गया।
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